मुसीबत में जकरबर्ग, Instagram और WhatsApp इन दोनों से धोना पड़ सकता है हाथ

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टेक्नोलॉजी की दिग्गज कंपनी Meta एक ऐतिहासिक एंटीट्रस्ट ट्रायल का सामना कर रही है, जो कंपनी को Instagram और WhatsApp को अलग करने के लिए मजबूर कर सकता है। Meta ने इन दोनों स्टार्टअप्स को एक दशक पहले खरीदा था और अब ये कंपनी के सबसे बड़े बिजनेस पिलर बन चुके हैं।

यह मुकदमा अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के कार्यकाल में शुरू हुआ था। 2020 में दाखिल इस केस में फेडरल ट्रेड कमीशन (FTC) ने Meta (तब Facebook) पर आरोप लगाया था कि उसने Instagram और WhatsApp को प्रतिस्पर्धा खत्म करने और सोशल मीडिया पर अवैध रूप से एकाधिकार बनाने के इरादे से खरीदा था।

 

FTC के मुताबिक मार्क जकरबर्ग की रणनीति “प्रतिस्पर्धा से बेहतर है खरीदना” पर अमल करते हुए Facebook ने उन कंपनियों को खरीदा जो उसके लिए खतरा बन सकती थीं। इसी योजना के तहत पहले Instagram को और फिर WhatsApp को खरीदा गया।

Instagram और WhatsApp की खरीदारी कैसे बनी सवाल का कारण

अगर कोर्ट Meta के खिलाफ फैसला देता है, तो कंपनी को Instagram और WhatsApp को अलग करना पड़ सकता है। इसका सीधा असर Meta की कमाई पर पड़ेगा, क्योंकि रिपोर्ट के अनुसार, 2025 तक Instagram अकेला अमेरिका में Meta की 50.5% एड रिवेन्यू का स्रोत बनने जा रहा है।

विशेषज्ञों का कहना है कि आज सोशल मीडिया बाजार में TikTok, Snapchat, YouTube जैसे कई और बड़े खिलाड़ी हैं, जिससे FTC के लिए Meta का एकाधिकार साबित करना चुनौतीपूर्ण होगा। यह मुकदमा Meta के लिए ही नहीं, बल्कि पूरी टेक इंडस्ट्री के लिए मील का पत्थर साबित हो सकता है। Google और Amazon जैसी कंपनियां भी इसी तरह के एंटीट्रस्ट मामलों का सामना कर रही हैं।

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