2024 15 अगस्त उत्सव- कुछ लोग कभी भारत का भला देख नहीं सकते, देश को इसे समझना होगा’, लालकिले से बोले प्रधानमंत्री मोदी
प्रधानमंत्री ने अराजकता फैलाने वाले लोगों के प्रति देशवासियों को किया आगाह
‘हमारा सामाजिक दायित्व है जो लोग पीछे रह जाते हैं उन्हें भी साथ लेकर आगे बढ़ें। हम किसानों, आदिवासी भाई बहन, माता-बहनें, मजदूर, श्रमिक साथियों, सभी को हमारी बराबरी में लाने का प्रय़ास करना है। इसके बाद हमारी ताकत बहुत बढ़ जाएगी और बहुत संवेदना के साथ हमें इस काम को करना है। हमें पता है कि 1857 के स्वतंत्रता संग्राम के पहले भी हमारा एक आदिवासी ने अंग्रेजों की नाक में दम कर दिया था। जिन्हें हम भगवान बिरसा मुंडा के रूप में पूजते हैं। वो हमारे लिए प्रेरणा का काम करते हैं। भगवान बिरसा मुंडा की जब हम 150वीं जयंती मनाएं तो हम हर वर्ग को लेकर साथ चलें। इस संकल्प को लेकर चलना है।’
‘हम संकल्प के साथ आगे बढ़ तो रहे हैं लेकिन कुछ लोग होते हैं जो प्रगति देख नहीं सकते। कुछ लोग हैं जो भारत का भला देख नहीं देख सकते, जब तक उनका भला न हो तब तक वे किसी का भला नहीं देख सकते। ये निराशा की गर्त में डूबे लोग हैं। जब उन लोगों की गोद में विकृति पलती है तो वह विनाश का कारण बन जाती है। अराजकता का मार्ग ले लती है। इससे बहुत बड़ी हानि हो जाती है। इसलिए ऐसे छिटपुट तो तत्व हैं। उनकी गोद में विकृति पल रही है। ये विकृति विनाश के सपने देख रही है। देश को इसे समझना होगा। मैं देशवासियों कहना चाहता हूं कि हम नेकनीयत से राष्ट्र के प्रति अपने समर्पण से, हम विपरीत मार्ग पर जाने वाले लोगों के दिल जीतेंगे। साथियों चुनौतियां हैं, चुनौतियां भीतर भी हैं, चुनौतियां बाहर भी हैं। जैसे जैसे हमारा तवज्जो बढ़ेगा तो चुनौतियां बढ़ने वाली हैं लेकिन ऐसी शक्तियों को कहना चाहता हूं कि भारत का विकास किसी के लिए संकट लेकर नहीं आएगा। हम विश्व में जब समृद्ध थे, तब भी हमने दुनिया को युद्ध नहीं दिया। मैं विश्व समुदाय को विश्वास दिलाता हूं कि आप भारत के संस्कारों को समझिए, भारत के हजारों साल के इतिहास को समझिए। हमें संकट मत मानिए। इस भूमि में विश्व कल्याण का सामर्थ्य है। देशवासियों को कहना चाहता हूं कि चुनौतियों को चुनौती देना हमारी फितरत में है। हम संकल्पों की पूर्ति के लिए, देशवासियों का भाग्य बदलने के लिए कोई कसर नहीं छोड़ेंगे। हम नेक नीयत से जीतेंगे।’