एमपी बोर्ड का 10वीं-12वीं के रिजल्ट मुख्यमंत्री मोहन यादव ने जारी किया। एमपी बोर्ड के दसवीं का 76.22 प्रतिशत एवं 12वीं का 74.28 प्रतिशत रिजल्ट रहा। इस साल करीब 16 लाख स्टूडेंट्स ने 10वीं और 12वीं की परीक्षा दी थी। विद्यार्थी अपना परिणाम बिना किसी असुविधा के नीचे दिए गए अमर उजाला के लिंक पर देख सकते हैं।
मध्यप्रदेश बोर्ड की 10वीं और 12वीं कक्षा का परीक्षा परिणाम (MP Board Result) मंगलवार, 6 मई को सुबह 10 बजे मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव द्वारा जारी किया गया। यह परिणाम समत्व भवन स्थित मुख्यमंत्री निवास से घोषित किया गया। 12वीं के कला समूह में इंदौर की वैदेही पिता मिश्र लाल मंडलोई ने प्रदेश में चौथा स्थान बनाया है। वैदेही को 500 में 484 अंक मिले हैं। वह शासकीय बाल विनय मंदिर की छात्रा है। वहीं छठे नंबर पर किंजल किंगरानी रहीं। किंजल केबी पटेल गुजराती कन्या उमावि गांधी हॉल की छात्रा हैं। पिछले वर्षों की तुलना में इंदौर जिले के छात्रों की टॉप टेन में भागीदारी में भारी गिरावट देखने को मिली है। दो साल पहले इंदौर के 26 विद्यार्थी टॉपर्स की सूची में शामिल थे, वहीं वर्ष 2024 में केवल 2 छात्राएं ही टॉप टेन में स्थान बना सकीं। इस साल के टापर्स की सूची कुछ देर बाद स्पष्ट होगी। वर्ष 2023 में भी 12वीं कक्षा के विभिन्न स्थानों पर इंदौर जिले के 13 छात्र शामिल थे।
12वीं में प्रियल द्विवेदी टॉपर, बेटियों ने मारी बाजी
मध्यप्रदेश माध्यमिक शिक्षा मंडल (MPBSE) की 12वीं की परीक्षा में इस बार 74.48% का परिणाम दर्ज किया गया है। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने बताया कि इस बार भी बेटियों ने बाजी मारी है। सतना की प्रियल द्विवेदी ने पूरे प्रदेश में टॉप किया है। प्रियल ने कुल 500 अंकों में से 492 अंक प्राप्त कर प्रथम स्थान हासिल किया है। इस वर्ष बोर्ड परीक्षाओं में कुल 16,60,252 विद्यार्थी सम्मिलित हुए थे, जिनमें से 7,06,000 छात्र 12वीं कक्षा के थे।
ऑनलाइन पोर्टल्स और ऐप्स से देखें रिजल्ट
विद्यार्थी अपना परीक्षा परिणाम मध्यप्रदेश माध्यमिक शिक्षा मंडल की आधिकारिक वेबसाइट के माध्यम से भी देख सकते हैं। छात्र अपना रोल नंबर और आवेदन क्रमांक दर्ज करके अपना रिजल्ट प्राप्त कर सकते हैं। राज्य सरकार और बोर्ड ने छात्रों से अपील की है कि वे केवल अधिकृत पोर्टल्स का ही उपयोग करें और किसी भी प्रकार की अफवाह या अनधिकृत वेबसाइटों से बचें।
फेल छात्रों को मिलेगा दोबारा मौका: मुख्यमंत्री
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने परीक्षा में असफल होने वाले छात्रों को निराश न होने की सलाह दी है। उन्होंने कहा कि नई शिक्षा नीति के अंतर्गत छात्रों को तुरंत दोबारा परीक्षा में बैठने का अवसर मिलेगा। 17 जून से राज्य में दोबारा परीक्षा आयोजित की जाएगी जिसमें फेल छात्र भाग ले सकेंगे। इसके अलावा जो छात्र अपना परिणाम सुधारना चाहते हैं, वे भी इस परीक्षा में सम्मिलित हो सकते हैं। मुख्यमंत्री ने यह भी बताया कि इस प्रकार की व्यवस्था लागू करने वाला मध्यप्रदेश देश का तीसरा राज्य बन गया है।