
मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने सोमवार को अपने कार्यकाल का तीसरा बजट पेश किया। सीएम सुक्खू बजट पेश करने के लिए ऑल्टो कार खुद चलाकर विधानसभा पहुंचे। बजट में कई बड़ी घोषणाएं की गई हैं।
58,514 करोड़ रुपये का बजट प्रस्तुत किया
हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने सोमवार को अपने कार्यकाल का तीसरा बजट पेश किया। बताैर वित्त मंत्री सीएम सुक्खू ने 58,514 करोड़ रुपये का बजट प्रस्तुत किया। वर्ष 2025-26 में राजस्व प्राप्तियां 42,343 करोड़ रुपये रहने का अनुमान है तथा कुल राजस्व व्यय 48,733 करोड़ रुपये अनुमानित है। इस प्रकार कुल राजस्व घाटा 6,390 करोड़ रुपये अनुमानित है। राजकोशीय घाटा 10,338 करोड़ रुपये अनुमानित है जोकि प्रदेश के सकल घरेलू उत्पाद का 4.04 प्रतिशत है।
दिहाड़ीदारों को 25 रुपये बढ़ोतरी के साथ 425 रुपये महीना मिलेंगे। आउटसोर्स कर्मियों को अब 12,750 मासिक मिलेंगे। आने वाले समय में आउटसोर्स भर्तियों को धीरे-धीरे कम करके नई व्यवस्था लाएंगे। पैरा वर्करों के मानदेय में बढ़ोतरी की गई है। आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं को 10 हजार, मिनी आंगनबाड़ी कार्यकर्ता को 7,300, सहायिकाओं को 9,800, आशा वर्करों को 9,800, सिलाई शिक्षकों को 500 की बढ़ोतरी, एमडीएम वर्करों को 5,000, जलवाहकों को 5500, जलरक्षकों को 5600 लोक निर्माण के मल्टी टास्क वर्करों के मानदेय में 500 रुपये बढ़ोतरी, आईटी शिक्षकों के 500 रुपये बढ़ाए गए हैं।
सीएम सुक्खू ने घोषणा की कि साल 2025 में 25,000 पद भरे जाएंगे। शिक्षा विभाग में 1 हजार पद भरे जाएंगे और एक हजार मका नियमित किया जाएगा। पुलिस विभाग में कांस्टेबल के पद भरे जाएंगे। 500 पदों के लिए पदोन्नति की परीक्षा करवाई जाएगी। इसकी अधिसूचना जल्द जारी होगी। गृह रक्षा विभाग में चालकों के 113 पद भरे जाएंगे। पंचायत सचिवाें के 853 पदों को सीधी भर्ती से भरा जाएगा। जल शक्ति विभाग में 4500 पदों पर नियुक्ति प्रदान कर दी गई है। विधायक प्राथमिकता की सीमा 195 करोड़ से 200 करोड़ करने की घोषणा की ।
पेंशनरों के एरियर का भुगतान 15 मई से
पहले चरण में 70 से 75 साल के पेंशनरों के एरियर का भुगतान 15 मई से किया जाएगा। चतुर्थ से प्रथम श्रेणी कर्मियों-अधिकारियों का एरियर चरणवद्ध तरीके से जारी किया जाएगा। इससे 1,75,000 कर्मियों को लाभ होगा। प्रदेश के कर्मचारियों को तीन प्रतिशत की दर से महंगाई भत्ता देने की घोषणा की गई है। यह 15 मई से दिया जाएगा।
2400 करोड़ से दो चरणों में मनाली, कुल्लू, नादौन, नग्गर, बाबा बालकनाथ मंदिर, नगरोटा बगवां, पालमपुर में पर्यटन इकाइयां विकसित होंगी। युवाओं को फूड वैन खरीदने पर 30 फीसदी सब्सिडी मिलेगी। नशे से निपटने के लिए मुख्यमंत्री की अध्यक्षता में बोर्ड बनाया जाएगा।
सीएम सुक्खू ने कहा कि सभी मेडिकल काॅलेजों में विश्व स्तरीय स्वास्थ्य सुविधाएं देने के लिए जाइका मिशन के माध्यम से 1700 करोड़ की राशि उपलब्ध करवाई जाएगी। डाॅक्टरों को अब 1.30 लाख रुपये मिलेंगे। अस्पतालों में 1 हजार रोगी मित्र नियुक्त किए जाएंगे। इन्हें 15,000 मासिक वेतन दिया जाएगा। आउटसोर्स पर नियुक्त ऑपरेशन थिएटर असिस्टेंट व रेडियोग्राफर का वेतन बढ़ाने की घोषणा की। मुख्यमंत्री वृद्धजन देखभाल योजना शुरू होगी। इसके तहतर 70 वर्ष से अधिक आयु के बुजुर्गों को घरद्वार स्वास्थ्य सेवाएं मिलेंगी।
बजट में नगर निकाय जनप्रतिनिधियों के मानदेय में बढ़ोतरी की घोषणा की गई है। नगर निगम महापाैर व उप महापाैर के मानदेय में 1000-1000 रुपये की बढ़ोतरी की है। शहरी विकास क्षेत्र में 656 करोड़ रुपये खर्च होंगे।
पद मानदेय प्रतिमाह
महापौर 25,000
उप महापौर 19,000
पार्षद 9,400
अध्यक्ष नगर परिषद 10800
उपाध्यक्ष 8,900
पार्षद(नप) 4,500
प्रधान(नप) 9,000
उप प्रधान(नप) 7,000
सदस्य 4,500
शिमला शहर में लग्जरी बसें चलाई जाएगी ताकि निजी वाहनों का इस्तेमाल कम हो। हिम परिवार पोर्टल के तहत जारी आईडी सरकारी योजनाओं से लिंक होगी, ताकि पात्र लोगों को योजनाओं का लाभ मिल सके। अंतरजातीय विवाह पर 50 हजार के बजाय अब दो लाख रुपये मिलेंगे।
मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार प्रदेश में ड्रोन टैक्सी सेवाएं उपलब्ध करवाने की योजना बनाएगी। इसका इस्तेमाल कृषि-बागवानी, दवाइयों को पहुंचाने सहित अन्य कार्यों में किया जाएगा। मंडी, हमीरपुर व कांगड़ा में ड्रोन स्टेशन बनेंगे। 33 केवी या इससे अधिक बिजली खपत वाले उद्योगों को बिजली बिल पर सब्सिड मिलेगी।
सीएम सुक्खू ने नशाखोरी रोकने के लिए स्पेशल टास्क फोर्स गठित करने की घोषणा की है। राजगढ़, कंडाघाट में दमकल केंद्र खोला जाएगा। प्रदेश की औद्योगिक नीति में बदलाव किया जाएगा। निवेशकों के लिए मैत्रीपूर्ण वातावरण उपलब्ध करवाया जाएगा। एक उच्च स्तरीय बोर्ड गठित होगा, जो राज्य के औद्योगिक निवेश से से संबंधित सभी पहलुओं पर विचार करेगा। उद्योगों को दो महीने में सभी अनुमतियां दी जाएंगी। 40 पैसे प्रति यूनिट उद्योगों को सब्सिडी साल में दो बार दी जाएगी। डीबीटी के माध्यम से सब्सिडी दी जाएगी।
18925 आंगनबाड़ी केंद्रों को नजदीक के स्कूलों में रिलोकेट किया जाएगा। ये केंद्र अब आंगनबाड़ी सह प्री नर्सरी स्कूल कहलाएंगे, इनमें 3 से 6 साल के बच्चों की देखभाल की जाएगी। इन केंद्रों को पूर्व पोषाहार को और पौष्टिक बनाया जाएगा। जिला स्तर पर पौष्टिक आहार खरीद की शक्तियां प्रदान की जाएंगी।